NCERT Geography Book PDF (Class 6-12)

“UPSC तैयारी की मजबूत नींव: क्यों NCERT है अनिवार्य और Result Mitra है सबसे बेहतर विकल्प?”

UPSC IAS की तैयारी के लिए NCERT क्यों ज़रूरी है?

सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी करने वाले हर अभ्यर्थी के लिए NCERT किताबें पहला और सबसे अहम पड़ाव होता हैं। इनकी सबसे बड़ी खासियत यह है कि ये बहुत सरल और सहज भाषा में लिखी गई हैं, जिससे कोई भी विद्यार्थी बिना कठिनाई के जटिल अवधारणाओं को समझ सकता है। विषय के तहत चाहे वह इतिहास, भूगोल, राजनीति, अर्थशास्त्र या समाजशास्त्र हो,  सभी विषयों की मूलभूत समझ NCERT से ही विकसित होती है। यही कारण है कि UPSC में हर साल कई प्रश्न सीधे NCERT से पूछे जाते हैं। इतना ही नहीं, इन पुस्तकों को पढ़ने से उत्तर लेखन में भी गहराई और तार्किक प्रवाह आता है, क्योंकि ये केवल तथ्य नहीं देतीं बल्कि उनके पीछे का सिद्धांत और संदर्भ भी समझाती हैं।

NCERT को कैसे पढ़ें?

NCERT पढ़ने का सही तरीका है कि आप इसे एक रणनीति के साथ अपनाएँ। सबसे पहले, कक्षा 6 से 12 तक की अनिवार्य किताबें चुनें जो सीधे UPSC सिलेबस से जुड़ी हैं। उदाहरण के लिए:

  • इतिहास के लिए — “हमारा अतीत” (6–10), “भारत का स्वतंत्रता संग्राम” (12)
  • भूगोल के लिए — कक्षा 11–12 की “भौतिक भूगोल” और “भारत: लोग और अर्थव्यवस्था”
  • अर्थशास्त्र के लिए — “भारतीय आर्थिक विकास” (11) और “भारतीय अर्थव्यवस्था” (12)
  • राजनीति विज्ञान के लिए — “भारतीय संविधान”, “लोकतांत्रिक राजनीति” (11–12)

हर अध्याय पढ़ते समय केवल सतही तौर पर न जाएँ, बल्कि मुख्य अवधारणाओं और महत्वपूर्ण तथ्य नोट करें। पहली बार पढ़ाई से आधार बनेगा, दूसरी बार दोहराने से स्पष्टता आएगी और तीसरी बार पढ़ने पर यह सामग्री दिमाग में बैठ जाएगी।

इसके साथ ही, हर अध्याय को पढ़ने के बाद उसे UPSC के पिछले वर्षों के प्रश्नों (PYQs) से जोड़े। इससे आपको समझ आएगा कि UPSC किस प्रकार NCERT से प्रश्न उठाता है। इसके अलावा, NCERT के स्थिर विषयों को करंट अफेयर्स से जोड़ना बेहद ज़रूरी है। उदाहरण के लिए, जब आप “मुद्रास्फीति” (Inflation) अर्थशास्त्र की किताब से पढ़ें, तो उसे हाल की बजट घोषणाओं और RBI की नीतियों से लिंक करके समझें। कुछ पिछले वर्ष के प्रश्न से भी आप NCERT के महत्व को समझ सकते हैं जैसे:

1) भारत के इतिहास के संदर्भ में, निम्नलिखित युग्मों पर विचार करें:

  1. एरीपट्टी : वह भूमि, जिसका राजस्व गांव के तालाब के रखरखाव के लिए अलग रखा जाता था।
  2. तनियुर : एक ब्राह्मण या ब्राह्मणों के समूह को दान किए गए गाँव
  3. घटिकाएँ: सामान्यतः मंदिरों से जुड़े महाविद्यालय।

उपर्युक्त में से कौन सा/से युग्म सही सुमेलित है/हैं?

a) 1 और 2

b) केवल 3

c) 2 और 3

d) 1 और 3

2. मध्यकालीन भारत के आर्थिक इतिहास के संदर्भ में, ‘अरघट्टा’ शब्द का तात्पर्य है

a)बंधुआ मजदूरी

b) सैन्य अधिकारियों को दी गई भूमि अनुदान

c) भूमि की सिंचाई में प्रयुक्त जलचक्र

d) बंजर भूमि को कृषि योग्य भूमि में परिवर्तित करना

3. भारत के सांस्कृतिक इतिहास के संदर्भ में, इतिहास, राजवंश इतिहास और महाकाव्यों को याद करना निम्नलिखित में से किसका पेशा था?

a) शर्मन

b) परिव्राजक

c) अग्रहारिका

d) मागध

4. निम्नलिखित कथनों पर विचार करें:

  1. किसी भी व्यक्ति के लिए पंचायत का सदस्य बनने हेतु न्यूनतम आयु 25 वर्ष निर्धारित है।
  2. समय से पहले विघटन के बाद पुनर्गठित पंचायत केवल शेष अवधि के लिए जारी रहती है

उपर्युक्त में से कौन सा/से कथन सही है/हैं?

a) केवल 1

b) केवल 2

c) 1 और 2 दोनों

d) न तो 1 और न ही 2

 उपर्युक्त सारे प्रश्न NCERT के हैं, जो UPSC के द्वारा पूर्व में पूछे गये हैं

UPSC की तैयारी में NCERT का महत्व

UPSC परीक्षा (IAS, IPS, IFS आदि) की तैयारी करने वाले किसी भी अभ्यर्थी के लिए NCERT किताबें सबसे मजबूत नींव मानी जाती हैं। इसका कारण यह है कि UPSC का सिलेबस बहुत विशाल और बहुआयामी होता है, जिसे समझने के लिए सबसे पहले बुनियादी अवधारणाओं पर पकड़ ज़रूरी है। यही काम NCERT किताबें करती हैं।

  1. सरल और स्पष्ट भाषा – NCERT की किताबें बहुत आसान और सुगम भाषा में लिखी गई हैं, जिससे शुरुआती विद्यार्थी भी जटिल विषयों को आसानी से समझ सकते हैं।
  2. वैचारिक स्पष्टता (Concept Clarity) – ये किताबें सिर्फ तथ्य नहीं बतातीं, बल्कि उनके पीछे का सिद्धांत और तर्क भी समझाती हैं। इससे अभ्यर्थियों की सोच और विश्लेषण की क्षमता विकसित होती है, जो उत्तर लेखन (Mains) में बहुत काम आती है।
  3. सिलेबस से सीधा मेल – UPSC के प्रश्नपत्र (Prelims और Mains) में बार-बार वही टॉपिक पूछे जाते हैं, जो NCERT में दिए गए हैं। कई बार प्रश्न सीधे NCERT की पंक्तियों से उठाए जाते हैं।
  4. सभी विषयों की नींव – इतिहास, भूगोल, राजनीति, अर्थव्यवस्था, समाजशास्त्र और विज्ञान – हर विषय की मूलभूत समझ NCERT से मिलती है। यही आगे चलकर उन्नत (Advanced) पुस्तकों को पढ़ने में मदद करती है।
  5. प्रामाणिक और विश्वसनीय स्रोत – चूँकि NCERT भारत सरकार की संस्था द्वारा प्रकाशित होती है, इसकी जानकारी प्रामाणिक और तथ्यात्मक होती है। यही वजह है कि इसे सबसे भरोसेमंद स्रोत माना जाता है।
  6. पुनरावृत्ति और नोट्स बनाने में सहायक – NCERT की सामग्री संक्षिप्त और व्यवस्थित होती है, जिससे बार-बार पढ़ना और नोट्स बनाना आसान हो जाता है।

हिंदी माध्यम के लिए NCERT: UPSC की मजबूत नींव

हिंदी माध्यम से सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी करने वाले अभ्यर्थियों के सामने सबसे बड़ी चुनौती होती है — सही और विश्वसनीय अध्ययन सामग्री का चयन। इस संदर्भ में NCERT किताबें सबसे उपयुक्त विकल्प हैं, क्योंकि ये छात्रों को सरल भाषा में सटीक और प्रमाणिक जानकारी प्रदान करती हैं। हिंदी माध्यम के छात्र अक्सर यह सोचते हैं कि क्या वे अंग्रेज़ी माध्यम के छात्रों से प्रतिस्पर्धा कर पाएँगे। इसका सबसे अच्छा उत्तर यही है कि यदि आपने NCERT को पूरी गहराई से पढ़ लिया, तो आपकी तैयारी में कोई कमी नहीं रहेगी।

NCERT का एक और बड़ा महत्व यह है कि यह जटिल विषयों को आधारभूत स्तर से समझाती है। हिंदी माध्यम के छात्रों के लिए यह विशेष रूप से मददगार है, क्योंकि यह उन्हें कठिन शब्दावली या जटिल व्याख्याओं में उलझाए बिना स्पष्ट समझ देती है। यही वजह है कि जब ये छात्र आगे उन्नत (Advanced) किताबें पढ़ते हैं या करंट अफेयर्स से जुड़ते हैं, तो उन्हें विषयों को समझने और जोड़ने में आसानी होती है।

इसके अलावा, हिंदी माध्यम के लिए उपलब्ध अन्य संदर्भ पुस्तकों में कई बार भाषा या अनुवाद की समस्या आती है, जबकि NCERT की किताबें मानक भाषा और संतुलित प्रस्तुति देती हैं। यही कारण है कि UPSC के प्रश्नों में बार-बार सीधे या अप्रत्यक्ष रूप से NCERT की सामग्री झलकती है।

संक्षेप में कहा जाए तो, NCERT केवल किताबें नहीं, बल्कि हिंदी माध्यम के छात्रों के लिए UPSC तैयारी का सबसे मजबूत हथियार हैं। यह न केवल उनकी नींव मजबूत करती हैं, बल्कि आत्मविश्वास भी जगाती हैं कि वे अपनी भाषा में भी उच्च स्तर पर सफलता प्राप्त कर सकते हैं।

हर टॉपर क्यों कहता है कि NCERT ज़रूरी है?

  1. जड़ से समझ – टॉपर मानते हैं कि UPSC की तैयारी पेड़ की तरह है, जिसकी जड़ें मज़बूत हों तभी वह खड़ा रह सकता है। NCERT वही जड़ है, जो इतिहास, भूगोल, राजनीति और अर्थव्यवस्था की बुनियाद मजबूत करती है।
  2. UPSC की भाषा से मेल – NCERT की किताबों में विषयों को जिस ढंग से लिखा गया है, वही अंदाज़ UPSC के सवालों में दिखता है। इसलिए टॉपर इन्हें “UPSC की भाषा सीखने की किताबें” कहते हैं।
  3. सीधे लिंक – कई बार Prelims में सवाल सीधे NCERT की लाइनों से बनते हैं और Mains में वही विचार गहराई में पूछे जाते हैं। टॉपर का कहना है कि NCERT पढ़ने से दिमाग में तुरंत “लिंक” बनता है।
  4. Confusion से बचाती है – बाजार में ढेरों गाइड और मोटी किताबें मिलती हैं। टॉपर कहते हैं कि शुरुआत में उन पर जाने से भ्रम पैदा होता है। NCERT इस उलझन को खत्म करती है और पढ़ाई को सीधी दिशा देती है।

आपके पास NCERT पढ़ने के तीन विकल्प हैं:

1. PDF डाउनलोड करके पढ़ सकते हैं:

  •  फायदे: ऑनलाइन मुफ्त उपलब्ध।
  • नुकसान:
    • मोबाइल/लैपटॉप स्क्रीन पर लंबे समय तक पढ़ना थकाऊ।
    • हाईलाइटिंग और नोट्स बनाना मुश्किल।
    • Distractions (सोशल मीडिया/नोटिफिकेशन)।
      👉 नतीजा: शुरुआती छात्रों को सुविधाजनक लगता है, लेकिन गंभीर तैयारी में टिकाउपन नहीं।

2. किताबें खरीदकर (Book Set):

  • फायदे: हाथ में पुस्तक, पढ़ने का पारंपरिक अनुभव।
  • नुकसान:
    • खर्चा बहुत अधिक (पूरे सेट पर ₹7000–8000 तक)।
    • शेल्फ में रखी मोटी-मोटी किताबें देखकर नए छात्र Confused हो जाते हैं कि “कौन-सी किताब से शुरू करें?”
    • शुरुआती अभ्यर्थी यह समझ ही नहीं पाते कि UPSC के लिए NCERT के कौन-से अध्याय प्रासंगिक (Relevant) हैं और कौन-से कम ज़रूरी।
    • किसी भी टॉपिक को गहराई (Depth) से समझना उनके लिए आसान नहीं होता, क्योंकि किताबें केवल मूल जानकारी देती हैं, परीक्षा-उन्मुख व्याख्या नहीं।
      👉 नतीजा: पैसे ज़्यादा खर्च होते हैं, समय भी ज्यादा लगता है, लेकिन सही दिशा नहीं मिलती।

3. Result Mitra का NCERT Foundation Course के साथ जुड़कर:

इसके अंतर्गत निम्न सुविधा की प्राप्ति:

  • पूरे 1 साल का NCERT Foundation Course केवल ₹2499 में।
  • Class 6–12 की सभी ज़रूरी NCERT को UPSC सिलेबस के हिसाब से Topic-wise Cover किया जाता है।
  • Expert Teachers बताते हैं कि कौन-सा टॉपिक UPSC के लिए महत्वपूर्ण है और कैसे पढ़ना है।
  • जटिल अध्यायों को आसान भाषा और उदाहरणों के साथ समझाया जाता है।
  • Notes, PYQs और Test Series के ज़रिए गहराई भी मिलती है और Revision भी आसान।
  • Result Mitra द्वारा Short Notes दिए जाएंगे, जो सीधे UPSC NCERT से आए प्रश्नों से मेल खाएँगे।
  • 900–1000 घंटे का क्लास – जिससे पूरे NCERT का मजबूत बेस तैयार होगा।
  • Notes इतने संक्षिप्त और सटीक होंगे कि आप Prelims से पहले आसानी से Revision कर पाएंगे।
  • Video Classes Live और Recorded दोनों रूप में उपलब्ध।
  • वीडियो को आप Unlimited बार देख सकते हैं।

अगर फिर भी आपके मन में सवाल या शंका हो?

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क्यों चुनें Result Mitra?

विदित है कि जहाँ PDF और Book Set शुरुआती छात्रों के लिए Confusion और Extra खर्च का कारण बनता हैं, वहीं Result Mitra NCERT Foundation Course केवल ₹2499 में आपको तय दिशा, प्रासंगिक टॉपिक्स और गहराई के साथ तैयारी करवाता है।

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